ह्लोच ओ, फिला एल, हैवलिन जे, पालोवा एस और चारवत जे
पृष्ठभूमि: पिछली रिपोर्ट के अनुसार, इम्यूनोन्यूट्रिशन के कारण कुपोषण से पीड़ित सिस्टिक फाइब्रोसिस रोगियों में सीरम एमिलॉयड में कमी आती है। वर्तमान अध्ययन का लक्ष्य कुपोषण से पीड़ित सिस्टिक फाइब्रोसिस रोगियों में पोषण मापदंडों, प्लाज्मा अमीनो एसिड और लिपिड प्रोफाइल पर इम्यूनोन्यूट्रिशन के प्रभाव का मूल्यांकन करना था।
विधियाँ: इम्यूनोन्यूट्रीशन और मानक पोषण सेवन द्वारा प्रेरित पोषण मापदंडों और लिपिड और प्लाज्मा अमीनो एसिड प्रोफाइल में परिवर्तन का मूल्यांकन 55 स्वस्थ नियंत्रण विषयों की तुलना में सिस्टिक फाइब्रोसिस के 30 रोगियों में किया गया।
परिणाम: नियंत्रण विषयों की तुलना में सिस्टिक फाइब्रोसिस के रोगियों में बीएमआई, प्लाज्मा प्रीएल्ब्यूमिन, ट्रांसफ़रिन के साथ-साथ प्लाज्मा अमीनो एसिड और लिपिड प्रोफाइल में काफी गिरावट आई। इम्यूनोन्यूट्रिशन सहायता के बाद सिस्टिक फाइब्रोसिस के रोगियों में ट्राईसिलगिसरोल का सीरम स्तर काफी कम हो गया। इम्यूनोन्यूट्रिशन के कारण ग्लूटामिक एसिड, मेथियोनीन, आर्जिनिन और ऑर्निथिन प्लाज्मा सांद्रता में वृद्धि हुई, जबकि ग्लूटामाइन, ग्लाइसिन, वेलिन, थ्रेओनीन और ट्रिप्टोफैन की प्लाज्मा सांद्रता में काफी कमी आई।
निष्कर्ष: इम्यूनोन्यूट्रिशन के कारण कुपोषण से ग्रस्त सिस्टिक फाइब्रोसिस रोगियों में सीरम ट्राईसिलग्लिसरॉल में महत्वपूर्ण कमी आती है तथा प्लाज्मा अमीनो एसिड प्रोफाइल में परिवर्तन होता है, जो प्रतिरक्षा प्रणाली की सक्रियता को दर्शाता है।