नेत्सानेट वर्कू और गर्ड बिरकेनमेयर
पृष्ठभूमि: प्रारंभिक अध्ययनों ने ट्रिपैनोसोमा क्रूज़ी, प्लास्मोडियम फाल्सीपेरम और लीशमैनिया मेजर के उपचार में प्रोटीज़ अवरोधकों की प्रभावकारिता की पुष्टि की है । हालाँकि, ट्रिपैनोसोमा ब्रुसी कोशिकाओं पर एचआईवी-1 प्रोटीज़ अवरोधकों की प्रभावकारिता और विशिष्ट प्रोटीज़ अवरोध पर अध्ययन अछूते रहे। वर्तमान अध्ययन का उद्देश्य ट्रिपैनोसोमा ब्रुसी प्रसार में दो एचआईवी-1 प्रोटीज़ अवरोधकों, रिटोनावीर और सैक्विनावीर की प्रभावकारिता का निर्धारण करना और यह निर्धारित करना था कि क्या ये एचआईवी-1 प्रोटीज़ अवरोधक ट्रिपैनोसोमा ब्रुसी मेजर प्रोटीज़ की गतिविधि को लक्षित करते हैं।
विधियां: परिवर्तनशील बढ़ती सांद्रता पर समय निर्भरता परीक्षण, गतिशील कोशिका गणना, अलमारब्लू® कोशिका प्रसार/व्यवहार्यता परख और ज़ाइमोग्राफी आदि प्रयोग की गई विधियों में शामिल थीं।
परिणाम: रिटोनावीर (IC 50 =12.23 ± 0.33 µM) और सैक्विनावीर (IC 50 =11.49 ± 0.31 µM) दोनों ने ट्रिपैनोसोमा ब्रुसी कोशिकाओं के प्रसार को प्रभावी रूप से बाधित किया। इन कोशिकाओं में पहचाने गए प्रमुख प्रोटीएज़ सिस्टीन (~29 kDa Mr) और मेटालो- (~66 kDa Mr) प्रोटीएज़ थे। प्रोटीन बैंड डेंसिटोमेट्री के परिणामों ने ट्रिपैनोसोमा ब्रुसी कोशिकाओं में मेटालो-और सिस्टीन-प्रोटीएज़ की गतिविधि में सांख्यिकीय रूप से महत्वपूर्ण (Pvalue< 0.05) अवरोध दिखाया।
निष्कर्ष: परिणामों से पता चलता है कि आरटीवी और एसक्यूवी ने ट्रिपैनोसोमा ब्रुसेई कोशिकाओं में एंटी-प्रोलिफेरेटिव प्रभाव दिखाया, जो संभवतः परजीवी की सिस्टीन और मेटालोप्रोटीज़ गतिविधियों के गैर-विशिष्ट लक्ष्यीकरण के कारण था।