मार्गरीडा डुआर्टे, क्रिस्टीना मिगुएल और एमिलिया अल्बुकर्क
परिचय: कैंसर रोगियों की दवा परस्पर क्रिया के प्रति संवेदनशीलता के कारण ऑन्कोलॉजिकल सेटिंग में साइकोट्रोपिक दवाओं का मूल्यांकन और प्रिस्क्रिप्शन विशेष महत्व रखता है ।
उद्देश्य: कैंसर रोगियों के एक नमूने में सह-रुग्णताओं की आवृत्ति और प्रकार तथा फार्मास्यूटिकल्स के मानक प्रिस्क्रिप्शन का वर्णन करें। दूसरे, इस संदर्भ में, विशेष रूप से साइकोट्रोपिक दवाओं के प्रिस्क्रिप्शन में, नैदानिक औषधीय परस्पर क्रियाओं के महत्व पर विचार करें। सामग्री/तरीके: अक्टूबर और दिसंबर 2011 के बीच, IPOCFG की साइको-ऑन्कोलॉजी इकाई में पहली बार संदर्भित रोगियों के एक नमूने का वर्णनात्मक अध्ययन। नैदानिक प्रक्रियाओं से परामर्श करके सामाजिक-जनसांख्यिकीय और नैदानिक चर का पूर्वव्यापी संग्रह बनाया गया था।
परिणाम: विश्लेषण के लिए शामिल किए गए 60 रोगियों के नमूने से, 48.3% रोगी एंटीनियोप्लास्टिक दवा पर थे, 46.7% का पहले से मनोरोग इतिहास था और 70% साइकोट्रोपिक दवाओं पर थे; 75% में अन्य सह-रुग्णताएँ थीं। केवल 8.3% रोगी ही दवा से मुक्त थे और इसके अंतर्गत आने वाले रोगियों में से 63.6% ने तीन या अधिक अलग-अलग औषधीय वर्गों का सेवन किया।
निष्कर्ष: सह-रुग्णता और कई वर्गों की दवाओं के सह-नुस्खे की उच्च आवृत्ति है जो कैंसर रोगियों को परस्पर क्रिया के जोखिम में डालती है। यह महत्वपूर्ण है कि चिकित्सक इन घटनाओं की भविष्यवाणी करने में सक्षम हों ताकि दक्षता के नुकसान को रोका जा सके और प्रतिकूल प्रभावों को कम किया जा सके, विशेष रूप से एंटीनियोप्लास्टिक के ।